Health  

World Cancer Day पर जानिए स्तन कैंसर के कारण, लक्षण और उपाय

4 फरवरी को विश्व कैंसर दिवस (World Cancer Day) मनाया जाता है। कैंसर एक ऐसी बीमारी है, जिसका इलाज इसे काबू करने और इससे बचाव रखकर ही संभव है।

4 फरवरी को विश्व कैंसर दिवस (World Cancer Day) मनाया जाता है। कैंसर एक ऐसी बीमारी है, जिसका इलाज इसे काबू करने और इससे बचाव रखकर ही संभव है। स्तन कैंसर (Breast cancer) अधिकतर महिलाओं में देखा जाने वाला रोग है और कभी-कभी यह पुरुषों में भी हो सकता है। शरीर के किसी अंग में होने वाली कोशिकाओं की अनियंत्रित वृद्ध‍ि कैंसर का प्रमुख कारण होती है।

कोशिकाओं में होने वाली लगातार वृद्धि एकत्र होकर गांठ का रूप ले लेती है, जिसे कैंसर ट्यूमर कहते हैं। स्तन कैंसर होने पर पहले या दूसरे चरण में ही इसका पता चल जाने से सही समय पर इसका इलाज संभव है। यदि आप स्तन कैंसर के प्रति जागरूक हैं, तो इसके लक्षणों को पहचानकर आप इसका इलाज सही समय पर करवा सकते हैं।

आइए जानते हैं स्तन कैंसर (Breast cancer) के सामान्य कारणों को –

  • विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार बच्चे नहीं पैदा करना,
  • अधि‍क उम्र में पहला बच्चा होना,
  • स्‍तनपान नहीं कराना,
  • वजन में अत्यधिक वृद्धि,
  • अक्सर शराब का सेवन करना,
  • खराब व अनियंत्रित जीवनशैली स्तन कैंसर के प्रमुख कारण हैं।
  • इसके अलावा अनुवांशि‍क रूप से भी स्तन कैंसर की बीमारी होना संभव है।

स्तन कैंसर के लक्षण –

  • स्तन के आकार में बदलाव महसूस होना,
  • स्तन या बांह के नीचे की ओर टटोलने पर गांठ महसूस होना,
  • स्तन को दबाने पर दर्द होना,
  • कोई तरल या चिपचिपा पदार्थ स्त्रावित होता,
  • निप्पल के अग्रभाग का मुड़ना एवं रंग लाल होना,
  • स्तनों में सूजन आ जाना।
  • स्तन कैंसर के प्रमुख हैं, जिनके महसूस होने पर सतर्क होकर इससे बचने के उपाय करना बेहद आवश्यक है।

स्तन कैंसर को रोकने के उपाय-

  • महिलाओं को जागरूक रहने के साथ ही नियमित तौर पर स्तन कैंसर की जांच करवाना चाहिए।
  • महिलाएं अपने ब्रेस्‍ट का परीक्षण, मैमोग्राफी से करवा सकती हैं। (इसका उपयोग रोग की पहचान करने और उसका पता लगाने के उपकरण के रूप में किया जाता है। मैमोग्राफी का लक्ष्य स्तन कैंसर का शुरुआती दौर में ही पता लगाना है।)
  • नमक का अत्यधिक सेवन न करें।
  • सूर्य के तेज किरणों के प्रभाव से बचें।
  • रेड मीट के अधि‍क सेवन से बचें।
  • अधिक मात्रा में धूम्रपान और नशीले पदार्थों का सेवन न करें।
  • गर्भनिरोधक गोलियों का लगातार सेवन करने से पहले चिकित्सकीय परामर्श लें।
  • एक्सरसाइज और योगा को नियमित तौर करें।